यहाँ आरा में मेरे घर में दो साइकिल है . एक विकी चाचा की और एक वर्षा दीदी की . मुझे जब पहली बार जब साइकिल से सामना हुआ तो नई चीज होने के नाते मैंने उसका परीक्षण करना शुरू कर दिया .साइकिल के पैडल को घुमाना शुरू किया , मधुर आवाज निकली , उत्साह बढ़ा और प्रयोग बढ़ते गए, और प्रयोग में ही साइकिल मेरे ऊपर आ गिरी , पापा पास ही थे सो बचा लिया गया . दुर्घटना होने के बाद भी साइकिल के प्रति मेरा लगाव बना रहा , जब भी साइकिल दिखता है परीक्षण शुरू हो जाता है .
Friday, January 1, 2010
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2 comments:
वाह .. नववर्ष मंगलमय हो !!
ये सही रहा..याने बड़े हो रहे हो!! :)
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